रामलला के प्रतिष्ठित होने के बाद राम नगरी में पहली बार प्रज्जवलित होंगे 28 लाख दीप, अपना पुराना रिकॉर्ड तोड़ने की है तैयारी

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चौदह वर्षों का वनवास पूरा कर भगवान श्रीराम के अयोध्या आगमन की खुशी में प्रतिवर्ष आयोजित होने वाला दीपोत्सव फिर अपनी आभा बिखेरने को आतुर है. आगामी 30 अक्टूबर को जब पूरा भारत छोटी दीवाली मना रहा होगा, तब रामनगरी दीपोत्सव की खुशियों से सराबोर दिखेगी. नयाघाट की राम की पैड़ी सहित सरयू नदी के प्रमुख घाट, मठ-मंदिर और सामान्य भवन भी दीपों की आभा से प्रकाशमान होंगे. नवनिर्मित राम मंदिर में रामलला के विराजमान होने के बाद दीपोत्सव का यह पहला अवसर होगा जब 25 लाख दीप प्रज्जवलित कर नया रिकॉर्ड बनाया जाएगा. इस अप्रतिम, अलौकिक, अद्वितीय नजारे को रिकॉर्ड करने के लिए गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड की टीम पहुंच चुकी है. 

 अयोध्यावासियों के आह्लाद का अतिरेक है दीपोत्सव

अयोध्या के वरिष्ठ पत्रकार अवनीश कुमार सिंह के अनुसार अयोध्या वासियों के आह्लाद का अतिरेक है रामनगरी का दीपोत्सव. घाटों मंदिरों और भवनों के अलावा अयोध्या नगर निगम हर वार्ड में 1500-1500 दीपों को जलाकर पूरी राम नगरी को दीपोत्सव में डुबोने की तैयारी में लगा है. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की उपस्थिति में उनकी सरकार ने 2017 में दीपोत्सव का अभियान शुरु किया था और इस तरह उत्सव का यह 8 वां संस्करण है. 15 किलोमीटर दूर स्थित भरत जी की तपोस्थली भरतकुंड में भी दीये प्रज्वलित किए जाएंगे. राम मंदिर में 22 जनवरी को भगवान श्रीराम के विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा के उपरांत आयोजित हो रहा पहला  दीपोत्सव कई मायनों में खास होने वाला है. इस वर्ष के दीपोत्सव में पहली बार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में मां सरयू की महाआरती भी होगी. इसमें 1100 अर्चक एक साथ एक जैसे परिधान में आरती करके एक और नया रिकॉर्ड बनाएंगे. महाआरती में समाज के सबल-निर्बल सभी वर्ग के लोगों की सहभागिता रहने वाली है. रामनगरी के प्रतिष्ठित साधु-संतों के साथ गृहस्थजन भी शामिल होंगे. वहीं, राम मंदिर सहित पूरे रामजन्मभूमि परिसर में एक लाख मिट्टी के दीये प्रज्वलित करने की तैयारी है. 

झांकियों का विशेष आकर्षण 

अवनीश बताते हैं कि दीपोत्सव का मुख्य आकर्षण अयोध्या के साकेत महाविद्यालय से निकलने वालीं झांकियां होती हैं, जिनमें भगवान श्रीराम के जीवन से संबंधित कई प्रसंगों का चित्रण होगा जिसमें राज्याभिषेक का सजीव चित्रण भी रहेगा. साकेत महाविद्यालय के परिसर से आकर्षक परिधान में सजे भगवान राम अपनी अर्धांगिनी माता जानकी के साथ पुष्पक विमान में सवार होंगे और नयाघाट स्थित रामकथा पार्क में सजे मंच पर उतरेंगे. उनकी अगुवाई मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सहित विभिन्न देशों से आए राजनयिक और केंद्र व प्रदेश सरकार के कई मंत्री करेंगे. इसके उपरांत मुख्यमंत्री प्रभु श्री राम व मां सीता जी की आरती करेंगे और राज्याभिषेक का कार्यक्रम संपन्न होगा. राज्याभिषेक के लिए भगवान के जाते ही पूरा अयोध्या धाम खुशियों से सराबोर दिखने लगेगा. 

राम की पैड़ी पर होगा मुख्य कार्यक्रम 

सरयू किनारे राम की पैड़ी पर मुख्य आयोजन होगा. राम की पैड़ी सहित सरयू के 55 घाटों पर 25 लाख दीये प्रज्वलित किए जाएंगे. दीये सजाने, उनमें तेल व बाती डालने के लिए 30 हजार प्रशिक्षित स्वयंसेवक व विद्यार्थी तैनात रहेंगे और मुख्यमंत्री स्वयं पहला दीप जला कर दीपोत्सव का शुभारंभ करेंगे. तीन लाख दीये अन्य स्थान पर जलाकर पिछले वर्ष के 25 लाख दीये  का रिकॉर्ड तोड़ा जाएगा. इस तरह नया रिकार्ड बनाने के लिए घाटों पर कुल 28 लाख दीये सजाए जाएंगे. वर्ष 2023 में 22 लाख 23 हजार दीयों को एक साथ प्रज्जवलित करने का रिकॉर्ड बना था, 2022 में 15.76 लाख, 2021 में 9.41 लाख, 2020 में 6.06 लाख, 2019 में 4.04 लाख, 2018 में 3.01 लाख और पहले वर्ष 2017 में 1.71 लाख दीये प्रज्जवलित कर कीर्तिमान बनाया गया था.

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